हलाल या झटका पर नया बवाल
कोरोना ने खाने पीने के होटलों की क्या गत बनाई हैं ये किसी से छुपी नही हैं की साउथ दिल्ली में एक नया बवाल आ गया हैं।
एसडीएमसी ने कहा कि रेस्त्रां और मांस की दुकानों को निर्देश दिया है कि उनके द्वारा बेचे जाने और परोसे जाने वाले मांस के बारे में यह अनिवार्य रूप से यह लिखना ज़रूरी हैं की वो माँस हलाल हैं या झटका ,इस आदेश के पारित होते ही साउथ होटल इंडस्ट्री सकते में हैं क्योंकि कोरोना की वजह से पहले ही उनकी स्थिति जर्जर हो चुकी हैं अब इस आदेश के बाद ग्राहकों में भ्रम की स्थिति फैलेगी । प्रायोगिक तौर पर हर ग्राहक को माँस की सही जानकारी देना संभव नहीं हैं। कई मुस्लिम केवल हलाल माँस खाना ही पसंद करते हैं जिसमें माँस को एक खास विधि धीरे धीरे काटा जाता हैं जिसे बाकी धर्म के लोग सही नही मानते और हलाला माँस से परहेज करते हैं जबकि झटका में एक ही बार मे जानवर की जान ले ली जाती हैं हिंदू झटका माँस को ही तरज़ीह देते हैं।
वैसे बात की जाय तो कुछ प्रतिशत लोग ही खाने से पहले माँस की काटे जाने की विधि पूछते हैं और रेस्तरां मालिक बड़े आराम से उन्हें बता भी देते थे अब अनिवार्यता के साथ बड़ी दिक्कतें आ सकती हैं ऐसा साउथ दिल्ली के होटल मालिक अपनी आशंका जता रहे हैं और ये इसे गैर जरूरी और राजनैतिक बता रहे हैं।